बीआरए बिहार विश्वविद्यालय के अंगीभूत व संबद्ध कॉलेजों में मंगलवार को स्नातक सत्र 2023-27 के प्रथम सेमेस्टर का मिड सेमेस्टर टेस्ट शुरू हो गया, जो छात्र इस परीक्षा में अनुपस्थित रहेंगे, उन्हें दिसंबर में आयोजित होने वाले इंड सेमेस्टर एग्जाम में शामिल नहीं किया जायेगा. परीक्षा नियंत्रक प्रो टीके है ने बताया कि सभी कॉलेजों में परीक्षा निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार शुरू हो गयी है. कॉलेज की यह इंटरनल परीक्षा है. परीक्षा समाप्त होने के बाद सभी कॉलेजों को छात्र छात्राओं की उपस्थिति अनुपस्थिति रिपोर्ट के साथ ही मार्क्स भी उपलब्ध कराना है. फाइनल सेमेस्टर का रिजल्ट मिड सेमेस्टर टेस्ट और इंड सेमेस्टर टेस्ट के अंकों को जोड़कर जारी किया जायेगा. इधर कई कॉलेजों में पहले दिन छात्रों की कम उपस्थिति ने चिंता बढ़ा दी. प्राचायों का कहना था कि देर से जानकारी मिलने के कारण सभी छात्र नहीं आ सके. बता दें कि सोमवार को विश्वविद्यालय की ओर से सभी कॉलेजों को आधिकारिक तौर पर परीक्षा संबंधी आदेश और परीक्षा पैटर्न भेज दिया गया. हालांकि राजभवन की और से जारी शेड्यूल के अनुसार 11 से 16 सितंबर तक कॉलेज स्तर पर यह परीक्षा आयोजित कराने को कहा गया है, लेकिन कॉलेज विश्वविद्यालय के आदेश का इंतजार करता रहे.

स्नातक के छात्रों का कहना है कि अधूरी तैयारियों का असर उनके परिणाम पर पड़ेगा, कॉलेजों में कक्षाएं तो 17 जुलाई से शुरू हो गयी है, लेकिन मेजर व माइनर सब्जेक्ट को छोड़ कर अन्य विषयों के बारे में डेढ़ महीने में कुछ भी नहीं बताया गया. स्नातक में छह पेपर होंगे, जिसमें चार का सिलेबस नौ जुलाई को एकेडमिक काउंसिल से स्वीकृत कराया गया. प्रथम सेमेस्टर में छह सौ अंकों के छह पेपर है, इसमें 180 अंकों की परीक्षा मिड सेमेस्टर में और 420 अंकों की ईड सेमेस्टर में होगी. यानी मिड सेमेस्टर और इंड सेमेस्टर के लिए सभी पेपर में अंकों को 30-70 के अनुपात में बांटा गया है,

स्नातक में इस साल यानी सत्र 2023-27 में सर्वाधिक 1.48 लाख छात्र-छात्राओं का नामांकन पांच जिलों के 115 कॉलेजों में हुआ है. हालांकि इसमें 75 प्रतिशत उपस्थिति सुनिश्चित करने वाले छात्र ही अपना कोर्स आगे बढ़ा सकेंगे. इससे कम उपस्थिति पर परीक्षा में शामिल होने से रोक दिया जायेगा. इसको लेकर राजभवन और विभाग की ओर से विश्वविद्यालय सख्त निर्देश दिए गए है।

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